पैरों में सूजन की आयुर्वेदिक दवा | ayurvedic medicine for swollen feet patanjali tablets

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आज जानेगे पैरों में सूजन की आयुर्वेदिक दवा पैरों में सूजन की एलोपैथिक दवा पैरों में सूजन की दवा पतंजलि+सूजन+की+दवा दोनों पैरों में सूजन के कारण पैरों में सूजन की होम्योपैथिक दवा पैरों की सूजन में क्या नहीं खाना चाहिए पैरों में सूजन आना और दर्द होना पैरों में सूजन और दर्द का इलाज जब आप लंबी उड़ानें या कार की सवारी करते हैं, तो आपको अपने पैरों में हल्की सूजन दिखाई दे सकती है, विशेष रूप से पैरों में एलोपैथिक इस सूजन को एडिमा कहा जाता है


अगर सूजन की समस्या काफी समय से है, तो आपको गंभीर रूप से लेने की जरूरत है। क्योंकि ये किसी खतरनाक बीमारी की ओर संकेत हो सकता है। जिसमें किडनी और दिल की बीमारी शामिल है। सूजन से राहत पाने के लिए घरेलू उपचार क्या हैं, चलिए जानते हैं

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1.  पैरों को ऊंचाई में रखें

पैरों में सूजन कम करनी है तो बैठते समय पैरों को ऊंचाई में रखें। जिससे सूजन से राहत मिलेगी। सूजन कम करने का एक और तरीका भी है, और वो है सीधे लेटकर पैरों को दिवार के सहारे ऊंचाई में रखें। कुछ देर बाद आप पैरों को नीचे रख सकते हैं। सूजन में काफी हद तक आराम मिलेगा


2. पानी अधिक पीजिये 


शरीर में पानी की कमी के कारण भी सूजन की समस्या होने लगती है। लेकिन ढेर सारा पानी पीने से सूजन को कम किया जा सकता है। अगर आपके पैरों या शरीर के किसी भी हिस्से में सोजन है तो दिन में लगभग 8 से 10 ग्लास पानी पीजिये। इससे शरीर हाईड्रेट रहेगा। क्योंकि हाईड्रेशन की कमी से शरीर में सूजन बढ़ने लगती है।


3. नमक कम खाइए 


अगर आप सादे युक्त नमक का कम सेवन करेंगे तो पैरों की सूजन से आराम मिलेगा। साथ ही फैटी खाने से भी बचाव करें।


4. ज्यादा देर किसी एक पोजीशन में ना बैठे 


अगर आप लंबे समय तक खड़ी रहती हैं या फिर एक ही जगह बैठी रहती हैं तो इससे पैरों की सूजन बढ़ सकती है। हर घंटे में कम से कम एक बार तो उठकर थोड़ा चल फिर लीजिए। अगर आपकी जॉब लगातार बैठे रहने वाली है तो भी ब्रेक लेना बहुत जरूरी है। अपने शरीर की पोजीशन बदलती रहें। साथ ही साथ दिन भर में 4-5 बार थोड़ी पैरों की स्ट्रेचिंग भी कर लें।


पैरों में सूजन होने के कारण (Causes of Swelling in Legs)


-ज्यादा देर तक खड़े रहना 

-डीप वेन थ्रोम्बोसिस (Deep vein thrombosis (DVT) की समस्या।

-रेनल फेल्योर (Renal failure) के कारण।

पैर में मोच आना।

-दूर तक सैर करना।

-बहुत देर तक पैरों को लटका कर बैठना।

-हृदय संबंधित रोग।

–उच्च रक्तचाप की समस्या होने पर।

-महिलाओं में गर्भावस्था के समय।

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